भाग्य बारिश का पानी है और परिश्रम कुएं का जल
बारिश में नहाना आसान तो है लेकिन रोज़ नहाने के लिए हम बारिश के सहारे नही जी सकते
इसी प्रकार भाग्य से कभी कभी चीज़ें आसानी से मिल जाती है किन्तु हमेशा भाग्य के भरोसे नहीं जी सकते
संबंध उसी आत्मा से जुडता है ,जिनका हमसे पिछले जन्मो का कोई रिश्ता होता है
वरना दुनिया के इस भीड़ में कौन किसको जानता है
आपकी आभारी विमला विल्सन मेहता
जय सच्चिदानंद 🙏🙏